Dehradun Milap : उत्तराखंड में राशन कार्ड धारकों के लिए राहत की खबर है। उपभोक्ताओं के अंगूठे के फिंगर प्रिंट न आने पर खाद्य सुरक्षा योजना के तहत राशन न मिलने से परेशान पात्र कार्डधारकों को अब ई-पाश मशीन से सुविधा होगी। राशन वितरण में अंगूठा के अलावा आइरिस स्कैनर में आंख दिखाकर राशन दिया जाता है।
इसके साथ ही ई-पाश मशीन से भी अब राशन दिया जा सकेगा। ऐसे में किसी को भी वापस नहीं लौटाया जाएगा। उत्तराखंड में नई ई पाश मशीनों से राशन वितरण के पायलट प्रोजेक्ट की लॉन्चिंग कर दी गई है। बुधवार को मंगलौर मंडी परिसर में खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री रेखा आर्या ने हरिद्वार और उधम सिंह नगर जनपद के लिए इसकी शुरुआत की।
ई पाश मशीन की लांचिंग करते हुए कैबिनेट मंत्री रेखा आर्या ने कहा कि इस आधुनिक मशीन के चलते अब वे लोग भी राशन ले सकेंगे जिनके फिंगरप्रिंट और आई कॉर्निया मैचिंग नहीं हो पाती थी। नई मशीन से राशन वितरण का प्रबंधन बेहतर तरीके से हो सकेगा। कैबिनेट मंत्री ने कहा कि प्रदेश के सभी गोदाम में इलेक्ट्रॉनिक कांटे स्थापित किए गए हैं जिससे राशन विक्रेताओं को अब तोल कर पूरा राशन मिलेगा। कैबिनेट मंत्री रेखा आर्या ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने अब तक के कार्यकाल में सरकारी योजनाओं का लाभ समाज के अंतिम छोर पर खड़े व्यक्ति तक पहुंचाने का काम किया है। राशन वितरण प्रणाली में यह बदलाव भी इसी दिशा में एक पहल है। यह शुरुआत डिजिटल इंडिया की कल्पना को साकार करने की दिशा में एक और मील का पत्थर साबित होगी।
कैबिनेट मंत्री रेखा आर्या ने कार्यक्रम में मौजूद राशन डीलरों से कहा कि उनका लाभांश जल्द खातों में पहुंचने वाला है। उन्होंने कहा कि भविष्य में राज्य खाद्य योजना से भी राशन विक्रेताओं को ₹180 प्रति क्विंटल लाभांश मिले, इसका प्रस्ताव विभाग ने शासन को भेज दिया है। कार्यक्रम में कैबिनेट मंत्री ने दर्जनों राशन विक्रेताओं को नई मशीनों का वितरण भी किया।